Breast Cancer ke Lakshan
बदलता समय और बदलते समय के साथ बदलती बीमारियां। ऐसे में जरूरी है जागरूकता और नॉलेज की।
ऐसी ही एक बीमारी है स्तन कैंसर (Breast Cancer), ब्रैस्ट कैंसर महिलाओं के लिए एक बड़ी समस्या है।
होती तो यह पुरुषों को भी है पर पुरुषों महिलाओं के मुकाबले बस 5% ही होती है।
यह बीमारी इतनी खतरनाक है की अगर समय रहते इसका पता नहीं लगाया जाये तो यह जानलेवा साबित होती है।
तो ऐसे में ये जान लेना बहुत ही जरूरी है की क्या है ब्रैस्ट कैंसर और क्या हैं इसके लक्षण (breast cancer और इस ke lakshan)
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स्तन कैंसर /ब्रैस्ट कैंसर क्या है (breast cancer kya hai)
WHO के अनुसार ब्रैस्ट कैंसर महिलाओं में होने वाले कैंसर का सबसे साधारण रूप है। यह स्तन कोशिकाओं की अनियंत्रित बढ़ोतरी के कारण होता है।
साधारण भाषा कहें तो स्तन में पाए जाने वाले टिश्यू दूध बनाने का काम करते हैं। ये टिश्यू छोटी छोटी वाहिनियों द्वारा निप्पल से जुड़े होते हैं और दुग्ध देते हैं।
जब इनमें छोटे छोटे पर सख्त कण जमने लगते हैं या स्तन के टिश्यू में गांठ बनने लगती है तो इसे ब्रैस्ट कैंसर कहते हैं।
शुरुआती पहचान और जागरूकता की कमी इसे जानलेवा बना देती है। तो आप को निम्न लक्षण दिखाई दें तो हो जाएँ सावधान |
ब्रैस्ट कैंसर के लक्षण (Breast cancer ke lakshan)
तो आप ध्यान रखें अगर आप को नीचे दिए लक्षण दिखें तो ये ब्रैस्ट कैंसर के लक्षण हो सकते हैं या किसी गंभीर समस्या के लक्षण हो सकते हैं।
- स्तन के नीचे गांठ होना
- बाहों के नीचे गांठ होना
- स्तन के आकार में बदलाव जैसें ऊँचा, टेड़ा-मेढ़ा आदि
- निप्पल का लाल रंग हो जाना
- स्तन से खून आना
- स्तन की त्वचा कठोर हो जाना
- निप्पल में डिंपल, जलन, लकीरें आदि पड़ना
- एक स्तन का दूसरे स्तन से अलग होना
- ब्रेस्ट कैंसर के मामले में निप्पल से पीले, हरे या लाल रंग का लिक्विड डिस्चार्ज होता है।
- निप्पल में दर्द का अनुभव होना
कैंसर के प्रकार (Cancer ke prakar )
वैसे तो स्तन कैंसर के कई प्रकार होते हैं पर मुख्यतः 2 प्रकार के कैंसर होते हैं।
इन्वेसिव डक्टल कार्सिनोमा
यह स्तन के मिल्क डक्ट्स में विकसित होता है। यह मिल्क डक्ट्स की कोशिकाओं से निकलकर शरीर के अन्य भागों में भी फैल सकती हैं।
आमतौर पर 70% महिलाओं में यही कैंसर पाया जाता है।
इन्वेसिव लोब्युलर कार्सिनोमा
यह दूध बनाने वाली ग्रंथियों में पैदा होता है, इसे लोब्यूल भी कहते हैं। इस तरह के कैंसर स्तन के एक हिस्से में मोटापा या सूजन आ जाती है।
तो ये थे Cancer ke कुछ मुख्य prakar इसके बाद ये जान लेना भी जरूरी है की किस कारण से होता है स्तन कैंसर
स्तन कैंसर के कारण (breast cancer ke karn)
गर्भनिरोधक गोलियां
उम्र के साथ शरीर कमज़ोर हो जाता है, ऐसे में अगर आप गर्भनिरोधक गोलियों का सेवन करते हैं तो आप ना सिर्फ स्तन कैंसर बल्कि दिल के स्ट्रोक का भी शिकार बन सकते हैं।
स्तन पान
एक स्टडी के मुताबिक जो महिलाएं लम्बे समय तक स्तन पान करवाती हैं उनमें स्तन कैंसर के चान्सेस कम होते हैं।
एजिंग
ऐसा देखा गया है की 50 के बाद स्तन कैंसर का खतरा बढ़ जाता है।
अर्ली ऐज पीरियड
अगर किसी लड़की को पीरियड कम उम्र में ही शुरू हो जाते हैं तो उसे breast cancer होने का खतरा थोड़ा ज्यादा होता है।
Genetics
अगर आप के परिवार में पहले कभी किसी को ब्रैस्ट कैंसर हुआ है तो चान्सेस हैं की आप भी इसकी चपेट में आ सकते हैं।
बड़े ब्रेस्ट
ब्रेस्ट में टिश्यू की मात्रा को ‘breast density’ कहा जाता है। अगर Breast में टिश्यू ज्यादा और फैट कम होता है तो ये ब्रैस्ट कैंसर का कारण बन सकता है।
नशा
ऐसा देखा गया है जो लोग नशा अधिक करते हैं उनमें ब्रैस्ट कैंसर का खतरा थोड़ा अधिक रहता है।
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उम्मीद करता हूँ आप समझ गए होंगे की ब्रैस्ट कैंसर क्या है और क्या हैं इसके लक्षण (Breast Cancer ke Lakshan) बाकी सुझाव या फीडबैक के लिए कमेंट सेक्शन यूज़ कर सकते हैं।